तहज़ीब और नजाकत के शहर लखनऊ में महिला भूमिहार समाज द्वारा आयोजित कार्यक्रम "आया सावन झूम के " हर्षोल्लास के साथ मनाया गया ।
लखनऊ । रविवार को एक लान में पारंपरिक उत्सवों की श्रृंखला को आगे बढ़ाने के क्रम में महिला भूमिहार समाज की सदस्यों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम "आया सावन झूम के" का आयोजन किया ।
कार्यक्रम का शुभारम्भ दीप प्रज्वलित कर गणेश वंदना की प्रस्तुति से किया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए महिला भूमिहार समाज की संस्थापिका डॉक्टर राजलक्ष्मी राय ने कहा कि, इस आयोजन का उद्देश्य हमारी सांस्कृतिक विरासत को भावी पीढ़ी तक पहुंचाना है और समाज की महिलाओं को एक साथ संगठित कर उनके आत्मशक्ति और सामाजिक योगदान को बढ़ावा देना है।
सावन के महीने में प्रकृति मानसून की गोद में आनंदित होती है। तो भला महिलाएं सावन में कैसे पीछे रह सकती हैं।हरे परिधान में हाथों में मेंहदी और हरी हरी चूड़ियों के साथ सज धजकर भारी संख्या में महिलाएं कार्यक्रम में शामिल हुईं और पारंपरिक लोकगीत कजरी और नृत्य की रसधार में सावनी फुहार का जमकर आनंद उठाया। तरह तरह के खेल ,कजरी गीत ,नृत्य और स्वादिष्ट व्यंजनों का आनंद सभी महिलाओं ने उठाया। इस अवसर पर मुख्य रुप से
पुष्पा सिंह,पूनम राय,कुसुम राय,डॉक्टर संध्या राय,इंदु राय,दीप्ति राय,उर्वशी,स्मिता पांडे,उपासना सिंह,अनिता पांडे,रूबी,शन्नो,श्वेता,सुनीता,नीलम,नीरू सिंह,नमिता,गीतांजलि,चिंता,सुमन उपस्थित रहीं। सभी के प्रति आभार डा. राजलक्ष्मी राय 'सिम्पी' ने ज्ञापित किया।
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